नई दिल्ली। आंतरिक संघर्ष से जूझ रहे सूडान से भारतीय नागरिकों की स्वदेश वापसी के लिए विदेश राज्य मंत्री वी. के. सिंह के नेतृत्व में चलाए गए अभियान ‘संकटमोचन’ के तहत भेजे गए भारतीय वायु सेना के दो सी-17 ग्लोब मास्टर्स विमान शुक्रवार 143 भारतीयों को लेकर स्वदेश लौट आया है।
Op #SankatMochan in progress.A sense of fulfillment prevails in the team seeing these happy faces. Jai Hind!! pic.twitter.com/XvVUnwEPfW
— Vijay Kumar Singh (@Gen_VKSingh) July 14, 2016
अभियान के तहत वायुसेना का पहला सी-17 ग्लोबमास्टर विमान भारतीयों को सुरक्षित लेकर शुक्रवार सुबह 7.30 बजे नई दिल्ली पहुंचेगा। वी. के. सिंह गुरुवार को विदेश मंत्रालय में आर्थिक मामलों के सचिव अमर सिन्हा और संयुक्त सचिव सतबीर सिंह के साथ दक्षिण सूडान की राजधानी जुबा पहुंचे।
Success is the natural outcome when working as a team.Thanku @narendramodi Ji, @SushmaSwaraj Ji, @manoharparrikar Ji pic.twitter.com/xKTMxJkUJe
— Vijay Kumar Singh (@Gen_VKSingh) July 14, 2016
दक्षिणी सूडान में तकरीबन 600 भारतीय नागरिक हैं, जिनमें से 450 नागरिक राजधानी जुबा में ही हैं। हालांकि 600 भारतीय नागरिकों में से सिर्फ 300 लोगों ने स्वदेश वापसी की इच्छा जाहिर की है।
पूरा अभियान विदेश मंत्री सुषमा स्वराज की देखरेख में संचालित हो रहा है। सुषमा ने दक्षिणी सूडान में स्थिति पर नजर रखने के लिए एक उच्च स्तरीय कार्य बल का गठन किया है। दक्षिण सूडान के राष्ट्रपति साल्वा कीर ने सोमवार शाम को सरकारी बलों और उपराष्ट्रपति रीक मचार के प्रति निष्ठावान सुरक्षाबलों के बीच कई दिनों से चल रही भारी गोलीबारी के बाद संघर्षविराम के आदेश दिए थे।
सूचना मंत्री माइकल माकुए ने टेलीविजन भाषण में कहा कि राष्ट्रपति कीर ने सभी कमांडरों को संघर्षविराम, अपने सुरक्षा बलों को नियंत्रित करने और नागरिकों को सुरक्षित रखने के निर्देश दिए हैं। संघर्षविराम सोमवार शाम छह बजे से प्रभावी हुआ। दक्षिणी सूडान में ताजा हिंसा सात जुलाई को जुबा में किर के आवास के बाहर हुई गोलीबारी के कारण शुरू हुई। गोलीबारी के समय किर अपने आवास पर माचार के साथ बैठक कर रहे थे।
संयुक्त राष्ट्र के अनुसार, संघर्ष के कारण दक्षिणी सूडान में अब तक 36,000 लोग अपने घर छोड़कर भागने पर मजबूर हुए हैं। दक्षिणी सूडान में स्थित विभिन्न देशों के दूतावास और मदद संस्थाएं संघर्ष शुरू होने के बाद से अपने-अपने कर्मचारियों को सूडान से बाहर निकालने में लगी हुई हैं।