नई दिल्ली। सूबे में चुनाव के दौरान किसानों की कर्ज माफी की बात करने वाली भाजपा ने प्रदेश में सत्ता का ताज पहनते ही अपनी कैबिनेट की पहली बैठक में किसानों के लिए बड़ा ऐलान करते हुए कर्ज माफी का ऐलान किया था। इसके बाद यूपी ने जब किसानों ने कर्ज माफी को लागू करने के बावत गुहार लगाई तो जुलाई में इससे अमली जामा पहनाने की बात योगी सरकार ने कही थी। जिसके बाद इसको कैबिनेट की बैठक में मुहर लगा दिया गया। अब इसे केन्द्रीय गृहमंत्री राजनाथ सिंह के साथ सीएम योगी सूबे के किसानों को समर्पित करेंगे।
सीएम योगी ने इसे किसानों के लिए ऋण मोचन योजना का नाम दिया है। आज इस योजना के प्रथम चरण में तकरीबन 75,00 किसानों को इस योजना के तहत प्रमाण पत्र दिया जायेगा। यह कार्यक्रम स्मृति उपवन में आयोजित किया जायेगा। इस कार्यक्रम में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के साथ गृहमंत्री राजनाथ सिंह मौजूद रहेंगे। इसके साथ ही ये दोनों आज इस योजना का श्री गणेश प्रदेश में करेंगे। चुनाव के दौरान किसानों को कर्जमाफी देने का जो वादा भाजपा के किया था। आज वह अपने उस वादे को पूरा करने जा रही है।
इस योजना के तहत 7500 किसानों को प्रमाणपत्र मिलेगा। इसके साथ ही इस योजना का लाभ सिर्फ लघु और सीमांत किसानों को दिया जा रहा है। जिनके पास खेती के लिए 5 एकड़ भूमि है और उन्होने 1 लाख रूपये तक का कर्ज ले रखा है। प्रदेश में ऐसे करीब 86 लाख किसान हैं। सरकार ने किसानों के कर्ज माफी के लिए 36 हजार करोड़ के बजट का ऐलान किया है। पहले चरण के प्रथम किस्त में करीब 27.5 लाख किसानों को ये सुविधा मिलने जा रही है। इस सुविधा को पाने वाले इन किसानों के आधार कार्ड खाते से लिंक कर दिए गए हैं।
आने वाले 5 सितंबर से इस योजना के तहत जिलों में मंत्री कर्ज माफी के प्रमाण पत्रों के किसानों में वितरित करेंगे। इसके लिए युद्ध स्तर पर किसानों के खातों को लिंक करने का काम चल रहा है। इसके साथ ही वेरीफिकेशन का भी काम किया जा रहा है। कर्ज माफी केवल फसली ऋण पर देने की सरकार ने योजना बनाई है। इसके तहत ही किसानों को राहत दी जा रही है।