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तालिबानियों के चंगुल से बचकर भारत लौंटी ये महिला पत्रकार, सुनाई भयावह मंजर की दास्तां

तालिबानियों के चंगुल से बचकर भारत लौंटी ये महिला पत्रकार, सुनाई भयावह मंजर की दास्तां

गाजियाबादः तालिबानी आतंकियों के चंगुल से निकलकर भारत लौंटी कनिका गुप्ता जो आपबीती बताई, उसे सुनने वाले हर किसी का दिल दहल उठा। उन्होंने बताया कि तालिबान के कबिज होने के बाद लोगों के लिए काबुल एयरपोर्ट नया ठिकाना बन गया है। काफी लोग अफगानिस्तान को छोड़कर जाना चाहते हैं।

फ्रीलांस पत्रकार हैं कनिका

गाजियाबाद के वैशाली की रहने वाली कनिका गुप्ता अभी तक अफगानिस्तान का वो खौफनाक मंजर नहीं भूल पाईं हैं। 17 अगस्त को स्वदेश लैटी कनिका ने भारती की धरती पर कदम रखते ही एक दिल को ठंडक देने वाला सुकून महसूस किया। कनिका ने बताया कि कि मैं बहुत मुश्किल से एयरपोर्ट पहुंची थी। जगह-जगह तालिबानी आतंकी हथियार लेकर खड़े थे। बता दें कि कनिका फ्रीलांस पत्रकार हैं और वह पिछले दो महीने से काबुल में थीं।

मानवीय पहलुओं से जुड़ीं खबरें करती थीं कवर

कनिका ने बताया कि अभी भी कई भारतीय काबुल में फंसे हैं। अफगानिस्तान पर जैसे ही तालिबानियों ने कब्जा किया, उन्होंने तुरंत भारतीय दूतावास से संपर्क किया। कनिका वहां के मानवीय पहलुओं से जुड़ी खबरों के कवर करती थीं। वहां उन्होंने बहुत सी अहम खबरें कवर की थी।

जगह-जगह खड़े थे तालिबानी

कनिका ने बताया कि तालिबाना द्वारा सत्ता कब्जाने के बाद वहां की सड़कों पर भगदड़ मची हुई थी, एयरपोर्ट पर हजारों की भीड़ जमा थी। उस वक्त कुछ सूझ नहीं रहा था। भारतीय दूतावास की ओर से खबर मिली की भारत जाने के लिए वायुसेना का विमान तैयार है। जिसके बाद वह बिना देरी किए एयरपोर्ट पहुंच गईं। कनिका ने बताया कि रास्ते में जगह-जगह तालिबानी आतंकी हाथियार लिए खड़े थे। एक चेक पोस्ट पर तो उन्हें रोक ही लिया गया।

इस दौरान तालिबानी आतंकी ने ड्राइवर से पूछताछ की। उसने कहा कि एयरपोर्ट बंद है। दो घंटे की कड़ी मशक्कत के बाद तालिबानी ने हमें एयरपोर्ट जाने की इजाजत दी। इस दौरान कुछ अन्य तालिबानी एयरपोर्ट तक साथ में गए।

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