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गणतंत्र दिवस 2018: पहले गणतंत्र दिवस पर ऐसा था पहले पीएम नेहरू का भाषण

pandit jawaharlal nehru

नई दिल्ली। यह तो हम सभी जानते हैं कि देश को आजादी तो 15 अगस्त 1947 को मिल गई थी। लेकिन ये आजादी तब तक अधुरू थी जब तक देश में पुख्ता संविधान नहीं था। पुख्ता संविधान के बाद ही देश की आजादी पूरी हो सकती थी। ताकि देश को आजादी के साथ-साथ देशवासियों को मूल अधिकार, शासन प्रणाली और न्याया व्यवस्था सूचारू रूप से मिल सके। वहीं जब 26 जनवरी 1950 को संविधान लागू हुआ तो देश के पहले प्रधानमंत्री पंडित जवाहर लाल नेहरू ने रेडियों के दुनिया और देश को संबोधित किया था। इस भाषण में नेहरू ने देश को ही नहीं बल्कि पूरी दुनिया खास कर पश्चिम देशओं को एक संदेश दिया था। पहले गणतंत्र दिवस का नेहरू का वो भाषण बहुत ही दुर्लभ है। आजादी की रात का उनका वो भाषण लगभग सभी ने सुना है।

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पश्चिमी देशों को दिया था खास संदेश

बता दें कि रेडियो पर अंग्रेजी में दिए उनके इस भाषण में खास तौर पर दुनिया के सभी देशों से चैन और अमन की अपील की गई थी। उन्होंने अपने भाषण में कहा था कि युद्ध और शांति की मुहिम एक साथ चलने से पनपे असंतुलन को सुधारना होगा, पूरी दुनिया शांति चाहती है, जिसे देशों को समझना होगा। उन्होंने कहा था कि पश्चिमी देशों के उनके दौरे से यह साफ है कि दुनिया को अब शांति चाहिए। गणतंत्र दिवस पर भाषणों में आज भी हम भारत की शांतिप्रियता और विकास की पैरोकारी की ही बात करते हैं। शांति के लिए सबसे बड़ा खतरा पाकिस्‍तान बना हुआ है। चीन भी भारत को परेशान करता रहा है। इसलिए आज भी शांति के महत्‍व को समझना उतना ही जरूरी है, जितना पहले गणतंत्र दिवस के वक्‍त पर था।

ऐसा था कि पहले गणतंत्र दिवस का नजारा

वहीं पहले गणतंत्र दिवस का नजारा कुछ अलग ही था। देशा का पहला गणतंत्र दिवस दिल्ली के इरविन एम्पीथियेटर में मनाया गया था। इस जगह को अब को अब मेजर ध्यानचंद नेशनल स्टेडियम कहते हैं। इंडोनेशिया के राष्ट्रपति सुकानो गणतंत्र दिवस पर बतौर मुख्य अतिथि बुलाए गए थे। पहले राष्ट्रपति डॉक्टर राजेंद्र प्रसाद ने जैसे ही तिरंगा फहराया था तिरंग के फहराते ही दनादन 21 तोपों सलामी से राजधानी गूंज उठी थी। इस बार (2018) भारत का 69वां गणतंत्र दिवस है। इस बार यह मौका इसलिए भी खास है क्यों कि पहली बार 10 देशों के नेता बतौर मुख्य अतिथि इस समारोह मे बुलाए गए। इनमें ब्रुनेई, कंबोडिया, इंडोनेशिया, लाओस, मलेशिया, म्यांमार, फिलीपींस, सिंगापुर, थाइलैंड और वियतनाम के राष्ट्राध्यक्ष शामिल है।

rani गणतंत्र दिवस 2018: पहले गणतंत्र दिवस पर ऐसा था पहले पीएम नेहरू का भाषण रानी नक़वी

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