नई दिल्ली। दिल्ली के मुख्यमंत्री और आम आदमी पार्टी के संजोयक अरविंद केजरीवाल पर लगे जनता के पैसे से वकील की फीस देने के आरोप के मामले में नया ट्विस्ट आया है। केजरीवाल के वकील राम जेठमलानी ने उनका पक्ष लेते हुए कहा है कि वो सिर्फ अमीर लोगों से ही पैसे लेते हैं। एक न्यूज एजेंसी से बातचीत करते हुए जेठमलानी ने कहा कि वो गरीबों के लिए मुफ्त में काम करते हैं।
उन्होंने एक बार फिर आरोप लगाया कि यह सब अरुण जेटली का कराया हुआ है जो केस में उनके द्वारा किए गए क्रॉस इक्जामिनेशन से डर गए हैं। आगे बोलते हुए जेठमलानी ने कहा कि अगर दिल्ली सरकार या फिर वह (अरविंद केजरीवाल) फीस नहीं दे पाते हैं, मैं इस केस में मुफ्त में आऊंगा। उन्होंने यह भी कहा कि वह उनको (अरविंद केजरीवाल) को एक गरीब क्लाइंट के हिसाब से ट्रीट करेंगे।
केजरीवाल पर लगा आरोप
केंद्रीय वित्त मंत्री अरूण जेटली द्वारा केजरीवाल के खिलाफ दायर किए गए मानहानि केस पर खर्च हुए 3.8 करोड़ रुपये का भुगतान केजरीवाल करदाताओं के पैसे से करना चाहते थे।
बता दें कि अरूण जेटली द्वारा किए गए मानहानि केस में अरविंद केजरीवाल ने महंगे से महंगे वकील को हायर किया था, जिसमें देश के सबसे महंगे वकीलों में शुमार राम जेठमलानी का नाम भी शुमार है।
दिल्ली के डिप्टी सीएम मनीष सिसोदिया ने मुकदमे के खर्च से जुड़े बिलों पर दस्तखत कर उसे पास करने के लिए दिल्ली के उपराज्यपाल अनिल बैजल को भेज दिया है। मनीष की ओर से रिपोर्ट भेजे जानें के बाद उपराज्यपाल ने विशेषज्ञों की राय मांगी है कि आखिरकार इस मुद्दे को कैसे निपटाया जाए। अगर कोई कार्रवाई करना बनता है तो उसका प्रोसेस क्या होगा।
1 करोड़ का बिल
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक केजरीवाल के खिलाफ जेटली द्वारा दायर मामले में उनका केस लड़ रहे रामजेठमलानी ने कथित तौर पर रिटेनरशिप के रूप में 1 करोड़ रुपये का बिल और कोर्ट में हर पेशी के लिए 22 लाख रुपये का बिल भेजा है।