लखनऊ। सरकार ने 15 फरवरी से सभी वाहनों के लिए फास्टैग (FASTag) अनिवार्य कर दिया है। फास्टैग न होने पर वाहनों को 14 फरवरी की रात 12 बजे से टोल प्लाजा पर दोगुना शुल्क देना पड़ेगा।
सरकार ने पहले सभी वाहनों पर फास्टैग लगाने की अंतिम तारीख 15 दिसंबर तक की थी। बाद में इसे बढ़ाकर 15 फरवरी 2021 कर दिया गया था। बिना फास्टैग वाले वाहनों के लिए हर टोल प्लाजा पर एक लेन खुली रखी गई थी। अब बिना फास्टैग के टोल प्लाजा से गुजरने वाले वाहनों से दोगुना शुल्क वसूला जाएगा।
इन बैंकों से बना सकते हैं फास्टैग
HDFC बैंक, Axis बैंक, ICICI बैंक, Kotak बैंक, Paytm पेमेंट्स बैंक और IDFC First बैंक समेत कई बैंक फास्टैग जारी कर रहे हैं। तमाम सरकारी बैंक भी फास्टैग बना रहे हैं। हर टोल प्लाजा पर भी फास्टैग काउंटर लगे हैं। आप वहां पर भी बनवा सकते हैं।
क्या है FASTag
FASTag स्टीकर आपकी कार की विंडशील्ड से अटैच होता है और इसमें रेडियो-फ्रीक्वेंसी आइडेंटिफिकेशन (RFID) टेक्नोलॉजी का इस्तेमाल किया जाता है। स्टीकर को कार की विंडशील्ड के अंदर लगाया जाता है और इसमें बार कोड होता है। RFID टेक्नोलॉजी को नेशनल पेमेंट्स कॉरपोरेशन ऑफ इंडिया (NPCI) ने डिवेलप किया है।
हर टोल प्लाजा की क्रॉसिंग लेन पर फास्टैग रीडर्स लगाए गए हैं। जैसे ही आपका व्हीकल डिटेक्टर के पास से गुजरता है। RFID कोड को डिटेक्ट कर लिया जाता है और आपके मिनिमम प्रीपेड बैलेंस से जरूरी टोल अमाउंट को काट लिया जाता है। नेशनल हाइवे अथॉरिटी ऑफ इंडिया ने 10 फरवरी को कहा है कि FASTag वॉलेट में न्यूनतम बैलेंस रखना जरूरी नहीं है।
टोल प्लाजा पर समय बचाएगा फास्टैग
FASTag, टोल प्लाजा पर गाड़ी रोके बिना टोल टैक्स कलेक्ट करने में मदद करता है। RFID टेक्नोलॉजी के इस्तेमाल से टोल बूथ एंप्लॉयीज को कैश हैंडल नहीं करना पड़ेगा और आसानी से टैक्स कलेक्ट हो जाएगा। इसके अलावा, फास्टैग के इस्तेमाल से टोल बूथ पर गाड़ियों की लंबी लाइनें नहीं लगेंगी।