लखनऊ। रक्षामंत्री व लखनऊ के सांसद राजनाथ सिंह से आज संयुक्त स्वास्थ आउटसोर्सिंग संविदा कर्मचारी संघ के एक प्रतिनिधि मंडल ने मिलकर अपनी समस्याओं से अवगत कराया है,साथ ही उन्हें साल 2016 में तीन अप्रैल को पार्टी द्वारा आयोजित अधिकार दिलाओ रैली की याद भी दिलाई।
जिसमें आउटसोर्सिंग कर्मचारियों का शोषण के छुटकारा दिलाने की बात कही गयी थी,आरोप है कि भाजपा के सत्ता में आने के बाद आउटसोर्सिंग कर्मचारियों का शोषण और बढ़ गया है।
रक्षामंत्री से मुलाकात कर संविदा कर्मचारी संघ ने मांग किया है कि चिकित्सा शिक्षा एवं चिकित्सा स्वास्थ्य विभाग में कार्यरत लाखो आउटसोर्सिंग कर्मचारियों को विभागीय संविदा पर समायोजित किया जाये, साथ ही उन्हें न्यूनतम वेतन 18000 रूपये दिया जाये तथा आउटसोर्सिंग नियमावली लागू की जाये।
यदि मौजूदा समय में सरकार के स्तर पर कार्रवाई नहीं होती है तो भारतीय जनता पार्टी के चुनावी घोषणा पत्र में आउटसोर्सिंग समाप्त किए जाने संबंधी मुद्दे को रखा जाए ।
बताया जा रहा है आउटसोर्सिंग कर्मचारियों की बात सुनने के बाद रक्षामंत्री ने चिकित्सा शिक्षा एवं चिकित्सा स्वास्थ्य विभाग से उचित कार्रवाई किए जाने का आश्वासन दिया।
संविदा कर्मचारी संघ के प्रतिनिधि मंडल में प्रदेश अध्यक्ष रितेश मल्ल,महामंत्री सच्चिता नन्द मिश्रा, डॉ राम मनोहर लोहिया आयुर्विज्ञान संस्थान के अध्यक्ष रणजीत सिंह यादव, उपाध्यक्ष विकास तिवारी,केजीएमयू के महामंत्री सतीश चौहान तथा अमरदीप सिंह मौजूद रहे।