नई दिल्ली। डोकलाम मुद्दे को लेकर एक संसदीय समिति को सरकारी अधिकारियों ने जानकारी देते हुए कहा कि डोकलाम के मुद्दे पर भूटान भारत के साथ दृडता के साथ खड़ा है। उन्होंने बताया कि पिछले साल अगस्त में चीन के साथ तनातनी खत्म होने के बाद चीन ने वहां अपनी कोई भी सेना तैनात नहीं की है। विदेश मामलों की इस स्थायी संसदीय समिति को ये जानकारी विदेश सचिव विजय गोखले और रक्षा सचिव संजय मित्रा ने दी है, जोकि डोकलाम में भारत-चीन की सैन्य तनातनी के अलग-अलग पक्षों को देख रही है।
इस समिति में सेना प्रमुख विपिन रावत, राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार अजीत डोवाल और गोखले के हालिया भूटान की हालिया यात्रा के बारे में जवाब देते हुए उच्चाधिकारियों ने पैनल से कहा कि दोकलम मुद्दे पर भूटान पूरी तरह से भारत के साथ है। किसी अन्य इलाके में जमीन के बदले दोकलम क्षेत्र में भूटान द्वारा चीन को जमीन स्थानांतरित किए जाने की संभावनाओं के संबंध में भी सवाल पूछा गया। पैनल के सदस्य कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने पूछा कि दोकलम में चीन का उद्देश्य क्या है और चीन ने विवाद के लिए उसी क्षेत्र को क्यों चुना? डोकलाम के पास बड़ी मात्रा में चीनी निर्माण की रिपोर्ट पर पूछे गए राहुल के सवाल पर अधिकारियों ने कहा कि भारतीय क्षेत्र में कुछ भी नहीं हुआ है।