कानपुरः उत्तर प्रदेश की खाकी एक बार फिर से शर्मसार हुई है। कानपुर के एक दारोगा पर आरोप है कि उसने एक महिला के घर में घुसकर उसके और उसकी बेटी के साथ मारपीट की है। महिला ने जब इसकी शिकायत स्थानीय पुलिस से की तो पुलिस कार्रवाई करने से पीछे हट गई। ऐसे में इंसाफ नहीं मिलने की वजह से पीड़ित मां और बेटी ने पुलिस कमिश्नर और मुख्यमंत्री से इच्छा मृत्यु की मांग की है।
समर्सिबल पाइप को लेकर हुई था विवाद
दरअसल, पूरा मामला पनकी थाना क्षेत्र के गंगागंज इलाके का है। यहां बीते 14 जुलाई को रूबी का विवाद पड़ोस में रहने वाले दारोगा के परिवार से हो गया। समर्सिबल पाइप निकालने की वजह से दोनों में विवाद हुआ था। अरैया में तैनात दारोगा विमल गौतम शाम को घर लौटा और जब विवाद के बारे में पता चला तो रूबी के घर में घुसकर उसके और बेटी के साथ मारपीट की। गाली-गलौज करते हुए दारोगा ने डंडे से महिला की पिटाई की। साथ ही शिकायत करने पर जान से मारने की धमकी भी देने लगा।
फोन पर दी हरिजन एक्ट लगाने की धमकी
पीड़ित महिला ने जब इसकी शिकायत पनकी थाने में की तो वहां की पुलिस ने शिकायत पर कोई कार्रवाई नहीं की। कुछ समय बाद पीड़ित महिला ने थाना प्रभारी दधिबल तिवारी को फोन किया तो थाना प्रभारी ने धमकाते हुए कहा कि दारोगा जी मारे थे। वे अगर हरिजन एक्ट लगवा देंगे तो दिमाग ठिकाने आ जायेगा। थाना प्रभारी की इस धमकी भरे कॉल का ऑडियो भी वायरल हो गया है। आरोपी दारोगा के खिलाफ पुलिस की ओर सो की कार्रवाई नहीं होने पर पीड़ित मां-बेटी ने इंसाफ के लिए अधिकारियों से गुहार लगाई है।
आत्महत्या करने के लिए मजबूर पीड़ित महिला
पीड़िता महिला का कहना है कि अगर उन्हें इंसाफ नहीं मिला तो वे अपनी बेटी के साथ आत्महत्या कर लेंगे। वहीं, पुलिस कमिश्नर का कहना है कि मामले की जांच करवाई जायेगी। इंस्पेक्टर की भूमिका की जांच के लिए एडिश्नल डीसीपी वेस्ट को जिम्मेदारी सौंपी गई है।