कोरोनावायरस के ओमिक्रॉन वैरीअंट से जूझ रही दुनिया के सामने अब एक और नया वैरीअंट कहर बनता दिखाई दे रहा है। कोरोना के इस वैरीअंट को डेल्मीक्रॉन का नाम दिया गया है। वहीं यूरोप, अमेरिका जैसे कई देशों में लगातार कोरोना संक्रमण तेज रफ्तार के पीछे कोरोना के डेल्मीक्रॉन वेरिएंट के होने की आशंका जाहिर की जा रही है।
ओमिक्रॉन से कैसे अगल है डेल्मीक्रॉन?
कोरोनावायरस के ओमिक्रॉन वेरिएंट का सबसे पहला मामला दक्षिण अफ्रीका से सामने आया था। इस वेरिएंट का वैज्ञानिक B.1.1.1.529 है। यह कोरोना के दोनों वैरीअंट से 5 गुना तेजी से संक्रमित होता है। जिसका विस्तार देश के अधिकतर देशों में हो चुका है। अभी इस वैरीअंट में डेल्टा की तुलना में हल्की लक्षण देखे जा रहे हैं और इसकी मृत्यु दर भी डेल्टा वैरीअंट की तुलना में कम है। वही डेल्मीक्रॉन वेरिएंट डेल्टा और ओमिक्रॉन वैरीअंट का एक संयोजक रूप है। जो इन दोनों वैरीअंट की तुलना में काफी तेजी से संक्रमित होने की क्षमता रखता है।
टीकाकरण का क्या होगा असर?
विश्व स्वास्थ्य संगठन के अनुसार ‘कोरोना का ओमिक्रॉन तेजी से फैल रहा है और अब तक 106 देशों में दस्तक दे चुका है। शुरुआती आंकड़ों के मुताबिक ओमिक्रॉन को मात देने में कोरोना टीकाकरण सक्षम साबित हो रही है। ऐसे में संक्रमित देश बूस्टर डोज पर तेजी से काम कर रहे हैं। हालांकि अभी तक वैज्ञानिक डेल्मीक्रॉन वेरिएंट की रोकथाम के लिए वैक्सीन कितनी सक्षम होगी इसको लेकर विस्तृत जानकारी नहीं दी है।
क्या भारत में दस्तक दे रहा है डेल्मीक्रॉन?
भारत में अभी तक आधिकारिक तौर पर डेल्मीक्रॉन का एक भी मामला दर्ज नहीं किया गया है। रिपोर्ट के मुताबिक भारत में अब तक ओमिक्रॉन के कुल 422 मामले सामने आ चुके हैं। हालांकि इन में से 114 लोग संक्रमण मुक्त हो चुके हैं।