लेखपाल रंगे हाथों घूस लेते गिरफ्तार
राजधानी लखनऊ की तहसीलों में भ्रष्टाचार चरम पर है। इसी कड़ी में आज फिर लखनऊ की सरोजनी नगर तहसील से घूसखोर लेखपाल को गिरफ्तार किया गया है।लखनऊ की तहसीलों में भ्रष्टाचार किस हद तक पहुंच गया है। इसका अंदाजा आप ऐसे लगा सकते हैं कि आज लखनऊ में एंटी करप्शन की टीम ने एक लेखपाल को घूस लेते रंगे हाथों पकड़ा गया है। सरोजीनी नगर तहसील के आस-पास के गांव समेत शहरी क्षेत्रों से लोग अपनी जमीन से जुड़े कामकाज हेतु पहुंचते हैं। लेकिन उनमें से किसी का भी काम बिना घूस लिए काम तहसीलों में नहीं हो रहा है। इसकी लगातार शिकायत की जा रही थी। इसके बाद एंटी करप्शन की टीम की तरफ से राजधानी लखनऊ की उन सभी क्षेत्रों में एक अभियान चलाया जा रहा है। जहां से भी भ्रष्टाचार की शिकायतें सामने आ रही है। इसके बाद आज इसी कड़ी में राजधानी लखनऊ की सरोजनी नगर तहसील में एंटी करप्शन टीम ने घूसखोर लेखपाल को पकड़ने के लिए पूरा जाल बिछाया। जिसके तहत सरोजनी नगर में तैनात लेखपाल रमेश प्रजापति रंगे हाथों 10000 रुपए घूस लेते गिरफ्तार किए गए।
कल कानूनगो हुए थे घूस लेते गिरफ्तार
एंटी करप्शन टीम के द्वारा कल राजधानी लखनऊ में मोहनलालगंज के कानूनगो को को घूस लेते गिरफ्तार किया गया था। राजस्व निरीक्षक जय प्रकाश श्रीवास्तव को विजिलेंस की टीम ने कल गिरफ्तार किया था। आरोपी राजस्व निरीक्षक पुलिस को तहसील में अपने कार्यालय में में बुलाया था। जिसमें कन्हैया खरगापुर में जमीन की पैमाइश के लिए ₹15000 की रिश्वत कानूनगो की तरफ से मांगी गई थी। इस मामले में आरोपी के खिलाफ एफ आई आर दर्ज कराई गई थी।
भ्रष्टाचार पर कोई लगाम नहीं
भ्रष्टाचार किस हद तक राजधानी के सरकारी विभागों में हो रहा है। यह इन दो गिरफ्तारियां से साफ हो जाता है। भ्रष्टाचार राजधानी कि सरकारी विभागों में किस हद तक बसा हुआ है। लेकिन इसके बावजूद भी इन तमाम स्थितियों पर शासन प्रशासन की तरफ से ध्यान नहीं दिया जाता। इसकी वजह से भ्रष्टाचार अब चरम पर आ चुका है। इस वजह से आमजन को भ्रष्टाचार का सामना करना पड़ता है। ऐसे में सवाल है कि आखिर भ्रष्टाचार से निपटने के लिए सरकार के पास ऐसी कोई व्यवस्था क्यों नहीं है, जिससे कि लोगों को बिना घूस दिए अपना काम आसानी से करा पाए और उसके साथ-साथ सरकारी सेवाओं का लाभ ले पाए।