हरिद्वार । बीते दिनों हरिद्वार में मंत्री सतपाल महाराज के आश्रम की दीवार को गिराने को लेकर मेयर और मंत्री मदन कौशिक के समर्थकों के साथ महाराज के समर्थकों के बीच हुए वर्चश्व की जंग में महाराज और मदन कौशिक के बीच बढ़ती तल्खियों को खत्म करने के लिए भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष तक दौरा कर चुके हैं। मामले की जांच के लिए एक कमेटी का गठन कर दिया गया है। अभी कमेटी की रिपोर्ट का आना बाकी है । लेकिन अब इस जंग में कांग्रेस भी खर्चा पानी लेकर कूद गई है।
कांग्रेस के पूर्व विधायक अंबरीश कुमार ने प्रेस वार्ता कर इस पूरे प्रकरण का जिम्मेदार मदन कौशिक को बताया है। उन्होने इस कांड का सारा ठीकरा मदन कौशिक के ऊपर फोड़ते हुए कहा कि मदन कौशिक 4 बार से विधायक हैं, मंत्री भी रहे हैं, वर्तमान सरकार में मंत्री है। ऐसे में उनकी नैतिक जिम्मेदारी थी कि जिलों में विकास की योजनाएं चलाई जाएं जलभराव की समस्या को दूर करना मदन कौशिक की जिम्मेदारी थी वो उन्होने पूरी नहीं की अब मेयर के जरिए महाराज पर निशाना साध कर बचना चाह रहे हैं। वहीं इस प्रकरण के बाद पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत ने अस्पताल जाकर मेयर मनोज गर्ग से मुलाकात कर हालचाल जाना।
चूंकि राज्य के गठन के पहले ये सीट कांग्रेस के पाले में रही थी। लेकिन उसके बाद से मदन कौशिक का इस सीट पर कब्जा हो गया है। लगातार हर बार बंपर वोटों से वो जीत हासिल करते जा रहे हैं। जो कि कांग्रेस के लिए एक बड़ी चुनौती बनी हुई है। अब वह महाराज और मदन कौशिक की लडाई का फायदा उठाना चाह रही है। क्योंकि अगर मदन कौशिक पर कार्रवाई हुई तो उनका कद महाराज के कद से कमजोर होगा। अगले चुनाव पर महाराज इस सीट के प्रवल दावेदार होंगे जिसके बाद कांग्रेस का मनसूबे सफल हो सकते हैं।
फिलहाल प्रकरण का जांच भाजपा की अनुशासन समिति कर रही है। शीघ्र की दोषियों पर कार्रवाई होगी इसके साथ इस पूरे प्रकरण के पीछ कोई राजनीतिक साजिश थी या नहीं इस बात का भी खुलासा होगा। लेकिन महाराज और मदन कौशिक के बीच चल रहे कोल्ड वॉर ने प्रदेश का सियासी पारा गरम कर रखा है।