गोरखपुर। गोरखपुर का बीआरडी अस्पताल इन दिनों सुर्खियों में छाया हुआ है। पिछले 6 दिनों में यहां 63 बच्चों की मौत होने के कारण विपक्षी पार्टियों को एक बार फिर से योगी सरकार पर निशाना साधने का मौका मिल गया है। मामला इतना गंभीर होने के बाद भी बच्चों की मौत का सिलसिला थमने का नाम ही नहीं ले रहा है। रविवार को भी यहां एक चार साल के बच्चे की मौत हो गई। मृतक बच्चा दिमागी बुखार से पीड़ित था।
रविवार को हुई मौत के बाद पिछले सात दिनों में बच्चों की मौत का आंकड़ा अब 64 पहुंच गया है। मामले की स्थिति को भांपते हुए खुद सीएम योगी कुछ ही वक्त में गोरखपुर पहुंचने वाले हैं। सीएम योगी के साथ केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री भी गोरखपुर पहुंचेंगे। शनिवार को सीएम योगी ने इस मुद्दे को लेकर प्रेस कॉन्फ्रेंस भी की थी। जिसमें सीएम ने बताया था कि बच्चों की मौत के कारण अलग अलग हैं और ऑक्सीजन की कमी के चलते बच्चों की मौत नहीं हुई है। सीएम ने कहा था कि राज्य मुख्य सचिव की अध्यक्षता में एक टीम गठित की जाएगी जोकि इस पूरे प्रकरण की जांच करेगी। सीएम योगी ने कहा था कि इस मामले में दोषियों को बख्शा नहीं जाएगा और दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी।
विपक्षियों का हमला
इस घटना के सामने आने के बाद बीआरडी कॉलेल के प्रिंसिपल को सस्पेंड कर दिया है। लेकिन इस सब के बीच कुछ नेताओं ने अपनी राजनीतिक रोटियां भी सेकनी शुरू कर दी। इस मुद्दे को लेकर विपक्षी योगी सरकार पर गंभीर आरोप लगा रहे हैं। जहां कांग्रेस ने सीएम योगी से इस्तीफा मांगा और पूरे देश से माफी मांगने की बात कही है तो पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने योगी सरकार पर आरोप लगाते हुए पीड़ितों के लिए मुआवजे की मांग की तो दूसरी तरफ योगी सरकार पर आरोप लगाने में बसपा सुप्रीमो मायावती भी पीछे नहीं रहीं। उन्होंने तो यहां तक कह दिया कि इस मुद्दे को लेकर बीजेपी की जितनी भी निंदा की जाए उतनी कम है।