रायपुर। बीजापुर में तेलंगाना से पैदल चलकर आने वाली 12 साल की बच्ची जमलो मड़कम की मौत पर मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने दुख जताया है। उन्होंने बच्ची और परिवार के प्रति गहरी संवेदना व्यक्त की है। तात्कालिक रूप से एक लाख रुपए मुख्यमंत्री सहायता कोष से परिजन को देने के लिए स्वीकृत किए। कलेक्टर से चर्चा के बाद मंगलवार को मुख्यमंत्री स्वेच्छानुदान कोष से 4 लाख रुपए अतिरिक्त देने की भी घोषणा की है।
दरअसल, बीजापुर के आदेड गांव निवासी 12 साल की जमलो मडकामी गांव के अन्य लोगों के साथ तेलंगाना के पेरूर गांव में मिर्ची तोड़ने का काम करने गई थी। कोरोना के चलते लॉकडाउन होने से वह फंस गई। पहले 21 दिन तो कट गए, लेकिन लॉकडाउन बढ़ा तो वह तीन दिन पहले 11 मजदूरों के साथ अपने गांव की ओर चल दी। इस दौरान करीब 100 किमी का पैदल चलकर वह बीजापुर पहुंची, लेकिन घर से 14 किमी पहले ही दम तोड़ दिया।
उसके साथ गांव के ही 11 दूसरे लोग भी थे, लेकिन जंगल के रास्ते उसे किसी तरह का इलाज नहीं मिल सका। साथ के लोग यही बता सके कि बच्ची के पेट में दर्द हो रहा था। वहां से निकलने के दूसरे दिन ही जमलो की तबीयत बिगड़ गई थी। यह लोग मोदकपाल इलाके के भंडारपाल गांव के पास ही पहुंचा था कि जमलो ने दम तोड़ दिया। जमलो अपने माता-पिता की इकलौती संतान थी।