नई दिल्ली। केंद्र सरकार पूर्वोत्तर में सक्रिय उग्रवादी संगठनों की गतिविधियों को नए सिरे से खंगाल रही है। खासतौर पर नागरिकता कानून लागू होने के बाद पूर्वोत्तर सहित देश के अलग-अलग हिस्सों में चल रहे आंदोलन के बीच पूर्वोत्तर की सरकारों से कई उग्रवादी संगठनों की गतिविधियों का ब्योरा मांगा गया है। केंद्र और राज्यों की एजेंसियां भी इस मामले में तालमेल बनाए हुए हैं। सूत्रों ने कहा कि खुफिया एजेंसियों को कुछ ऐसी सूचनाएं मिली हैं कि कुछ इलाकों में उग्रवादी गुट सिर उठाने के लिए मौके की तलाश में हैं। म्यांमार सीमा पर भी संदिग्ध गतिविधियों की सूचनाएं मिली हैं। सूत्रों ने कहा कि पूर्वोत्तर में सक्रिय उग्रवादी गुट कोई परेशानी न पैदा करें इसके लिए सुरक्षा बलों ने खास तरीके से ब्यूह रचना तैयार की है।
बता दें कि उग्रवादी गुटों से बातचीत के लिए बना तंत्र काम हर रहा है। नागा विद्रोही गुटों व पूर्वोत्तर राज्यों के अन्य विद्रोही गुटों जैसे असम के उल्फा, एनडीएफबी, केएलएनएलएफ और मणिपुर के केएनओ एवं यूडीएफ से वार्ता का काम अलग-अलग वार्ताकार पहले से कर रहे हैं। उग्रवादी गतिविधियों को अंजाम देने की कोशिश करने वाले संगठनों व उग्रवादी तत्वों की गतिविधियों को विभिन्न एजेंसयां खंगाल रही हैं ताकि इन पर नकेल कसी जा सके। एजेंसियां आपस में खुफिया इनपुट साझा करके किसी भी तरह की हिंसा की योजना को नाकाम बनाने की रणनीति पर काम कर रही हैं।
वहीं पूर्वोत्तर के अलग-अलग राज्यों में करीब 20 प्रमुख विद्रोही गुट सक्रिय हैं। असम में चार संगठन यूनाइटेड लिबरेशन फ्रंट ऑफ असम, नेशनल बोडोलैंड फ्रंट ऑफ बोडोलैंड, कामतापुर लिबरेशन आर्गेनाइजेशन, कार्बी लांगरी एन सी हिल्स लिबरेशन फ्रंट -केएनएलएफ सक्रिय हैं। मेघालय में गारो नेशनल लिबरेशन आर्मी,हाइनीवट्रेप नेशनल लिबरेशन काउंसिल की सक्रियता बनी हुई है। त्रिपुरा में नेशनल लिबरेशन फ्रंट ऑफ त्रिपुरा – एनएलएफटी, ऑल त्रिपुरा टाइगर फोर्स की गतिविधियां चल रही हैं
साथ ही सबसे ज्यादा विद्रोही गुट मणिपुर में हैं। यहां 11 संगठन सक्रिय हैं। इनमें यूनाइटेड नेशनल लिबरेशन फ्रंट – यूएनएलएफ, रिवोल्यूशनरी पीपुल्स फ्रंट – आरपीएफ, पीपुल्स लिबरेशन आर्मी, पीपुल्स रिवोल्यूनरी पार्टी आफ कांगलेईपाक, कांगलेई यावोल कन्ना लुप, कांगलेईपाक कम्युनिस्ट पार्टी, अलायंस फॉर सोशलिस्ट यूनिटी कांगलेईपाक, मणिपुर पीपुल्स लिबरेशन फ्रंट, कोआर्डिनेशन कमेटी कोर काम, कुकी नेशनल ऑर्गेनाइजेशन – केएनओ, यूनाइटेड प्रोग्रेसिव फ्रंट शामिल हैं।