दुनिया के बड़े लोकतंत्र में से एक अमेरिका को उसका नया राष्ट्रपति मिल गया हैं. जो बाइडेन मतगणना के बाद जीत चुके हैं. जो बाइडेन अमेरिका के 46वें राष्ट्रपति बनने वाले हैं, वहीँ भारतीय मूल की अमेरिकी कमला हैरिस यूएस की उप राष्ट्रपति बनने वाली हैं. बाइडेन ने कड़े मुकाबले में मौजूदा राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप को शिकस्त दी हैं. इसी बीच अमेरिका की सड़कों पर बाइडेन की जीत का जश्न शुरू हो गया हैं.
अमेरिकी मूल के भारतीयों ने मनाया जश्न
कैलिफोर्निया की सड़कों पर अमेरिकी मूल के भारतीय भी जीत के जश्न में डूबे हुए नजर आए. इस दौरान लोग खुशी में झूमते हुए नजर आ रहे थे. शिकागो स्थित ट्रंप टावर के पास भी जो बाइडेन के समर्थकों ने जमकर जश्न मनाया.
बाइडेन ने अमेरिकी जनता को भी किया संबोधित
जीत के बाद बाइडेन ने अमेरिकी जनता को भी संबोधित किया. बाइडेन ने वादा करते हुए कहा कि वे ऐसे राष्ट्रपति बनेंगे जो देश और समाज को तोड़ने नहीं बल्कि जोड़ने की कोशिश करेंगे. उन्होंने कहा कि वे एक ऐसे राष्ट्रपति होंगे जो अमेरिका के राज्यों को रेड और ब्लू के रूप में नहीं देखेंगे बल्कि संयुक्त राज्य अमेरिका के रूप में देखेंगे और वह पूरी क्षमता और लगन के साथ लोगों का विश्वास जीतने की कोशिश करेंगे.
बाइडेन का दावा ‘मेहनत से करूंगा काम’
जो बाइडेन ने समर्थकों को भी संबोधित किया. उन्होंने कहा कि एक-दूसरे को एक मौका देकर देखते हैं. अब वक्त है कि हम कड़वाहट भरी बयानबाजी से दूर रहें. एक-दूसरे से दोबारा मिलें, एक-दूसरे को दोबारा सुनें. अपने प्रतिद्वंद्वियों को दुश्मन मानना छोड़ें. मैं उन सबके लिए भी उतनी ही मेहनत से काम करूंगा जिन्होंने मुझे वोट नहीं दिया हैं.”
जीत के दिन को अमेरिका के लिए महान दिन बताया
जो बाइडेन ने कहा, “इस देश के लोगों ने अपना जवाब दे दिया हैं, उन्होंने हमें स्पष्ट जनादेश दिया हैं, ये जीत WE THE PEOPLE के लिए हैं. उन्होंने कहा कि ये अमेरिका के लिए महान दिन हैं, आपमें से कोई एक व्हाइट हाउस में रहेगा.”
कमला हैरिस अमेरिकियों को किया संबोधित
उपराष्ट्रपति पद के लिए निर्वाचित कमला हैरिस ने भी जीत के बाद अमेरिकियों को संबोधित किया. उन्होंने कहा, “19 साल की उम्र में मेरी मां जब भारत से US आई थीं, उन्होंने शायद इस पल के बारे में नहीं सोचा होगा. इस खूबसूरत पल का श्रेय उन्होंने अपनी मां को दिया हैं. कमला ने कहा कि उनकी मां ने शायद इस पल के बारे में नहीं सोचा होगा, लेकिन उन्हें अमेरिकी मूल्यों में गहराई से विश्वास था जहां इस तरह का पल आना संभव हैं. “