उत्तराखंड बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष मदन कौशिक ने अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद के अध्यक्ष नरेंद्र गिरी के निधन पर गहरा शोक जताया है। कौशिक ने कहा कि उनका असमय निधन समाज , संत समाज, सनातन संस्कृति एवं देश के लिए अपूरणीय क्षति है। उन्होंने कहा कि स्वर्गीय पूज्य नरेंद्र गिरी के निधन के संधर्भ में उनकी मृत्यु फाँसी लगाकर बताया गया है इसे लेकर कई तरह के संसय उत्पन हो रहै हैं उन्होंने मामले की जांच की मांग की है।
बता दें कि अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद् के अध्यक्ष नरेंद्र गिरी की संदिग्ध परिस्तिथियों में हुई मौत के बाद संत समाज में शोक की लहर है। धर्मनगरी हरिद्वार के संत समाज ने नरेंद्र की मौत की निष्पक्ष जाँच कराने की मांग की है। योग गुरु बाबा रामदेव ने मिडिया जो जारी बयान में कहा कि नरेंद्र गिरी महाराज एक वीर योद्धा सन्यासी थे, रहस्यमई परिस्तिथियों में उनकी मौत पर यकीन नहीं हो रहा है। वो सरकार से माँग नरेंद्र गिरी की मौत की निष्पक्ष जाँच की मांग करते है। वही बड़ा अखाडा उदासीन के महामंडलेश्वर रुपेन्द्रप्रकाश महाराज ने कहा कि नरेंद्र गिरी महाराज की अचानक मौत हो जाना एक षड्यंत्र है , ये संत समाज के लिए एक अपूर्णीय क्षति है इसलिए वो यूपी सरकार और डीजीपी से इस मामले की निष्पक्ष जाँच की मांग करते है।
वहीं महंत नरेंद्र गिरी की संदिग्ध परिस्थितियों में हुई मौत की सीबीआई जांच के लिए अधिवक्ता सुनील चौधरी की ओर से हाईकोर्ट में एक याचिका डाली गई है। याचिका के माध्यम से जिले के डीएम और एसएसपी को तत्काल बर्खास्त कर पूरे मामले की निष्पक्ष जांच के लिए सीबीआई को सुपुर्द करने की मांग की गई है। अधिवक्ता की ओर से कुछ अधिकारियों पर भी इस मामले में मिलीभगत होने का आरोप लगाया है। कहा कि बिनी सीबीआई के पूरे मामले की निष्पक्षता से जांच नहीं की जा सकती। स्थानीय पुलिस अधिकारी मामले में लीपापोती कर सकते हैं।