सुप्रीम कोर्ट के अहम फैसले पर एक नजर डालते है। देखते हैं पीठ के जजों ने क्या क्या कहो…..
जस्टिस अशोक भूषण का फैसला
-राजधानी दिल्ली क्षेत्र पर केंद्र सरकार और दिल्ली सरकार को कानून बनाने का विस्तृत अधिकार है.
-संविधान की धारा 239 एए (4) को छोड़कर दिल्ली के लेफ्टिनेंट गवर्नर को मंत्रिपरिषद की मदद और सलाह पर चलना होगा.
-संविधान की धारा 239 एए के तहत दी गई शक्तियों पर महज संवैधानिक जरूरत पड़ने पर ही लेफ्टिनेंट गवर्नर फैसला कर सकता है
अब देखना होगा कि फैसला दिल्ली की राजनीति पर कितना असर डालती है । लोग कितने खुश होते हैं, यह भी देखना बहुत दिलचस्प होगा कि क्या अरविंद केजरीवाल अब सही ढंग से कब काम कर पाते हैं कि नहीं और दिल्ली की जनता की जरूरतें पूरी हो पाती है कि नहीं।