नई दिल्ली। जीएसटी को लेकर आखिरकार एनडीए सरकार के लिए आज वो एतिहासिक दिन आ ही गया। ठीक जब घड़ी की सूईयां 12 पर आकर पहुंचेंगी देश को एक नई रूपरेखा के तौर पर एक सूत्र में पिरो देंगी अब तक देश में चालू सभी टैक्स अब एक मात्र जीएसटी में आकर लागू हो जायेंगे। यानी पूरा देश एक की पैमाने पर टैक्स देता नजर आयेगा।
इसी ऐतिहासिक दिन के लिए आज देश के सर्वोच्च सदन में सरकार और अन्य पार्टियों के वरिष्ठ नेता एकत्रित हुए हैं। जहां देश के राष्ट्रपति प्रणव मुखर्जी और प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की अगुवाई में आज राष्ट्र एक नया इतिहास लिखने जा रहा। आपको बता दें बीते 17 सालों से एक देश एक टैक्स को लेकर लाखों कोशिशें होती रही हैं। लेकिन एनडीए सरकार ने सत्ता में आते ही ये साफ कर दिया था, कि जीएसटी विधयेक तो पास होगा ही और कानून बनकर ये देश में लागू भी किया जायेगा। आखिरकार वह बहुत प्रतीक्षित पल आ गया ।
देश के प्रधानमत्री नरेन्द्र मोदी के सम्बोधन की शुरूआत के पहले देश के वित्त मंत्री ने अपने शब्द देश के सर्वोच्च सदन के पटल पर रखे। केन्द्रीय वित्त मंत्री अरूण जेटली ने बोलते हुए कहा कि देश में जीएसटी का लागू होना एक ऐतिहासिक अवसर है। देश अपनी संकीर्ण राजनीति से ऊपर उठ रहा है। हमें इस अवसर पर अपने सभी आपसी मतभेद भुलाकर देश हित में आगे आकर इसका स्वागत करना चाहिए। आज हम अपने महान देश की यात्रा में एक महत्वपूर्ण पल पर एकत्र हुए हैं। जीएसटी काउंसिल की 18 बार बैठक हुई, सर्वसम्मति के कारण मतदान की आवश्यकता नहीं पडी है। ये सरकार की एक बड़ी सफलता है। इसके साथ उन्होने कहा कि जीएसटी से जो अतिरिक्त साधन मिलेंगे, उनसे गरीब की सेवा करने का अवसर मिलेगा। यह ऐसी यात्रा, जहां भारत असीम संभावनाओं के लिए जागृत होगा, अपने आर्थिक क्षितिज का विस्तार करेगा।
सरकार के इस पूरे कार्यक्रम में कांग्रेस के साथ बाम दलों और टीएमसी के अलावा कुछ अन्य दलों ने पहले ही बॉयकाट कर दिया था। उन्होने सरकार के इस एजेन्डे को गलत करारे देकर इसका विरोध जताया था। हांलाकि कई बड़ी विपक्षी पार्टियों ने इस कार्यक्रम में शामिल होने के आमंत्रण को स्वीकार कर लिया था। जिसमें जेडीयू और समाजवादी पार्टी ने आने की बात कही थी।