Breaking News featured देश यूपी

हाशिमपुरा कांड: 40 मुस्लिम युवकों के नरसंहार में शामिल थे पीएसी के जवान, 30 साल में पहली बार बाद सामने आए नाम

Hashimpura 8 हाशिमपुरा कांड: 40 मुस्लिम युवकों के नरसंहार में शामिल थे पीएसी के जवान, 30 साल में पहली बार बाद सामने आए नाम

उत्तर प्रदेश सरकार ने 2 मई 1987 में मेरठ के हाशिमपुरा में मारे गए 40 मुस्लिम युवकों के हत्याकांड के 30 साल बाद पहली बार सुबूत के तौर पर एक केस डायरी पेश की है। जिसमें आरोपी पीएसी कर्मियों के नाम दर्ज हैं। पीएसी कर्मियों के नामों वाली यह लिस्ट 78 वर्षीय गवाह रणबीर सिंह बश्नोई की तरफ से कथित रूप से तैयार की गई है। इस लिस्ट में पीएसी कर्मियों पर 40 मुस्लिम युवकों पर हत्या का आरोप है। 2015 में इन आरोपी कर्मियों को कोर्ट की सुनवाई के दौरान बरी कर दिया गया था। बिश्नोई ने मंगलवार को तीस हजारी कोर्ट के सेशन कोर्ट में पहुंचकर केस डायरी सौंपी।

 

Hashimpura 8 हाशिमपुरा कांड: 40 मुस्लिम युवकों के नरसंहार में शामिल थे पीएसी के जवान, 30 साल में पहली बार बाद सामने आए नाम

 

इस केस डायरी में मेरठ पुलिस लाइंस में 1987 में तैनात पीएसी कर्मियों के नाम दर्ज हैं। राष्ट्रीय माननवाधिकार आयोग की याचिका पर दिल्ली उच्च न्यायालय के आदेश के बाद केस डायरी सुबूत के रूप में पेश की गई है। डायरी के कुल पांच पन्ने साक्ष्य को तौर पर पेश किए गए हैं।

 

गौरतलब है कि मार्च 2015 में सेशन अदालत ने 16 आरोपी पीएसी कर्मियों को सुबूत के अभाव में बरी कर दिया था। अदालत ने कहा था कि यह तो साबित होता है कि हाशिमपुरा मुहल्ले में 40 से 45 मुस्लिम युवकों का पीएसी के ट्रक से अपहरण हुआ और उन्हें मारकर गंग नहर, मुराद नगर और हिंडन नदी में फेंक दिया था। मगर यह साबित नहीं हुआ कि मारने वाले पीएसी कर्मी ही थे।

 

अदालत ने बिश्नोई ने कुल 17 पीएसी कर्मियों का नाम लिया। जिसमें प्लाटून कमांडर सुरेंद्र पाल सिंह, हेड कांस्टेबल निरंजन लाल, कमल सिंह, श्रवण कुमार, कुश कुमार, एससी शर्मा, कांस्टेबल ओम प्रकाश, शमी उल्लाह, जय पाल, महेश प्रसाद, राम ध्यान, लीलाधर, हमबीर सिंह, कुंवर पाल, बुद्ध सिंह, बसंत, बल्लभ, नाइक रामबीर सिंह का नाम है। यह साक्ष्य ऐसे समय में आए हैं जब ट्रायल कोर्ट की ओर से आरोपियों को बरी करने के फैसले को दिल्ली कोर्ट में मई 2015 में चुनौती दी जा चुकी है। आपको बता दें कि बिश्नोई ने ही चार्जशीट तैयार की है।

 

 

Related posts

10 सालो में 75 से अधिक मैराथन में दौर चुकी 73 साल की सुनीता प्रसन्ना

bharatkhabar

भारत-पाकिस्तान बंटवारे में अलग हुए भाई , 74 साल बाद जब करतारपुर कॉरिडोर में हुए एक, छलके आंसू

Neetu Rajbhar

बलरामपुर अस्पताल के नए निदेशक बने डॉ संतोष पाण्डेय

sushil kumar